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बीवी की सहेली की चुदाई की मैंने. उसने भी मेरा लंड चूस कर खूब मजा लिया. फिर मैंने उसकी गांड भी मारी. आप भी मजा लीजिये खुलम्म खुल्ला सेक्स का …
दोस्तो, मैं आर्यन आपको अपनी बीवी की सहेली की चुदाई कहानी के पिछले भाग बीवी की ख़ास सहेली के साथ ओरल सेक्स में अपनी बीवी की सहेली किंजल की चुदाई का मजा दे रहा था.
अब आगे बीवी की सहेली की चुदाई:
उससे किंजल मेरे लौड़े से चुदकर इतनी संतुष्ट हो गई थी कि वो प्यार से रोने लगी.
किंजल बोली- तूने मुझे जिंदगी का वो अहसास दिया, जो मैं कभी इसकी हकदार ही नहीं थी. मैंने उसकी चुत से लंड निकाला और उसकी चुत की पर एक किस्सी कर दी.
वो बोली- ये क्यों किया! मैंने कहा- तूने मुझे खुश किया, ये तेरी मुनिया के लिए प्यार था. वो बोली- अन्दर डाल कर मेरे ऊपर यूं ही लेटे रहो … अच्छा लगता है.
थोड़ी देर बाद मैं फिर से लंड चुत में डाल कर सो गया.
दो घंटे बाद उसको अपने घर जाना था तो वो बोली- अब मैं चलूं? मैंने बोला- तू वैसे भी यहां रुकने वाली थी न … तो रुक जा. तूने अपने घर पर बोला ही है कि तू इधर रुकने वाली है.
वो मेरी बात सुनकर मेरे घर पर ही रुक गई. कुछ देर बाद जब मैंने खींच कर लंड चुत से बाहर निकाला, तो उसकी चुत में दर्द हो रहा था.
वो चुत पकड़ कर दर्द से आह आह करने लगी. मैंने उससे प्यार से बोला- तेरी चुत को मैं फिर से चाट लेता हूँ … ताकि थोड़ी राहत मिल जाए.
वो कुछ नहीं बोली.
मैंने उसकी टांगे चौड़ी कर दीं और चूत चाटने लगा. थोड़ी देर में वो मेरे मुँह पर चुत रख कर बैठ गई और मैं चुत चाटने लगा.
उस टाइम उसके फोन पर उसके पति का कॉल आया. वो उससे बात करने लगी और साथ में मेरे लंड से खेलने लगी. वो फोन पर बात करते हुए मुझसे रगड़ रगड़ कर अपनी चुत चटवा रही थी.
किंजल की बात काफी लंबी चली. फिर वो 69 में आ गई और मैं उसकी चुत चाटने में तल्लीन हो गया.
वो फ़ोन स्पीकर पर करके मेरे लंड को चाटते चाटते बातें करने लगी.
उसकी लंड चूसने की आवाजें फोन पर जा रही थीं.
इतने से उसका मन नहीं भरा तो वो उठ कर चुदने की पोजीशन में आकर मेरे लंड पर चुत सैट करके बैठ गई और मेरा पूरा लंड चुत में डलवा कर ऊपर बैठ गई. लंड लेते समय उसके मुँह से धीरे से एक सिसकारी भी निकल गई.
मगर वो बहुत प्यार से उसके पति से बात करते करते मेरे लंड को अन्दर बाहर करती जा रही थी.
फिर जैसे उसने फ़ोन रखा, मैंने खींच कर उसे अपने नीचे किया और उसकी दोनों टांगों को चौड़ा करके पूरी ताकत से उसकी चुत में लंड डाल दिया. इस तेज झटके से मेरा लंड सीधे उसकी बच्चेदानी पर जा लगा. वो एकदम से चिहुंक उठी और अपने नाखून मुझे चुभोने लगी.
उसके नाखून मेरी पीठ पर गड़ रहे थे. कभी वो जोर से मेरी कमर को खींच कर मुझे अपनी चूचियों से रगड़ देती, तो कभी गांड उठा कर स्पीड बढ़ा देती.
उसको चोदते वक्त उसके मुँह के हाव भाव बहुत मस्त लग रहे थे. कभी आंखें फैला कर आह आह करती, तो उसकी आंखें एकदम नशीली लगने लगतीं.
मैं उसे लगातार एक ही स्पीड में उसकी आंखों में देख कर चोदता रहा. वो सिर्फ गांड उठाते हुए लंड चुत में ले रही थी और कुछ भी नहीं बोल रही थी.
ताबड़तोड़ चुदाई के बाद वो झड़ने के करीब थी. मैंने उसे दसेक शॉट मारे होंगे कि वो झड़ गई.
लेकिन इस बार एक चमत्कार हुआ. किंजल झड़ने के टाइम भी जोर जोर से अपनी चुत उठा उठा कर लंड को धक्का मारे जा रही थी. मैं भी उसकी चुत में जोर जोर से धक्के मार रहा था.
बहुत तेज रफ्तार से चुदाई हो रही थी. तभी हम दोनों एक साथ में झड़ गए.
वो झड़ते हुए बोली- हिलना मत प्लीज! मेरे लंड से निकली एक एक बूंद को वो अपनी चुत में पी रही थी. उसने मुझे जकड़ रखा था और लंड चुत से निकालने ही नहीं दिया. वो लंड के पानी की गर्मी को महसूस कर रही थी.
थोड़ी देर और वो अपनी चुत को सिकोड़ सिकोड़ कर मेरे लंड को नीम्बू सा निचोड़ रही थी.
करीब 20 मिनट के बाद मैं उसके ऊपर से उठा और बाथरूम जाकर खुद को साफ़ किया. मैं बाहर आया तो किंजल बाथरूम में चली गई.
अब हम दोनों बिस्तर पर नंगे लेट कर टीवी देखने लगे. उस टाइम मैं उसकी चुत में उंगली घुमा रहा था. वो मुझे सिर्फ प्यार से देखे जा रही थी.
मैंने उसको तीसरी बार गर्म किया लेकिन वो बोली- पूरी रात तुम्हारे साथ ही हूँ, जी भरके चोदना मुझे!
फिर हम दोनों ने खाना खाया. उसने सिर्फ एक टॉवल लपेटा था.
वो भी खाने के वक्त डाइनिंग टेबल पर बैठते समय उतार दिया था. वो मेरी गोदी में बैठ कर खाना खाने लगी. उस वक्त उसकी जांघों को सहलाते हुए मैं उसे खाना खिला रहा था.
किंजल अपनी प्यारी सी नशीली आंखों से देख कर मुझे स्माइल पास कर देती.
फिर जैसे ही खाना खत्म हुआ, तो मैंने उसे उसी मेज पर उसकी टांगें चौड़ी करके बैठा दिया. मैं उसकी चुत चाटने लगा और उसकी चुत के पानी को पी लिया.
वो ऊपर की तरफ सिर करके आंखें बंद करे लेटी थी. मेरे बाल पकड़ कर अपनी चुत पर मेरा मुँह घिस रही थी.
उस समय वो कामुक और मादक आवाजें निकाल रही थी. फिर मैंने उसको खींच कर चेयर पर ले लिया और उसकी चुत में लंड डाल दिया. वो लंड लेते ही एकदम से आउच बोली और हंसने लगी.
बाद में उसी पोजीशन में दोनों बारी बारी एक दूसरे को किस करने लगे थे. चुदाई के साथ बीच बीच में हम दोनों बातें भी कर रहे थे.
वो बोलती- जान, मैं ये पल कभी नहीं भूलूंगी … आज मैं कितनी खुश हूं, वो शब्दों में बयान ही नहीं कर सकती.
हमने आधे घंटे तक वैसे ही चुदाई की. फिर बेडरूम में आ गए. वहां आधे खड़े होकर एक दूसरे को बेड पर किस करने लगे.
किस के साथ ही मैं उसकी चुत में उंगली कर रहा था; वो मेरे लंड को मुठिया रही थी.
थोड़ी देर बाद मैं उसे बेड पर लिटा दिया और उसको उल्टा लिटाकर उसके ऊपर लेट गया. फिर पीछे से उसके कान पर किस किया, गर्दन पर चूमा और उसकी पीठ पर भी किस किया. कमर पर चूमते हुए मैं उसके पैरों पर आ गया.
उसी टाइम पास रखी मैंने थोड़ी सी क्रीम लेकर लंड पर लगा ली और मैं वापस उसके ऊपर लेट गया.
इस बार मैंने अपना लंड उसकी गांड के होल पर सैट कर दिया. वो सिर्फ रोमांस में डूबी थी, उसे होश ही नहीं था कि लंड क्या करने वाला है.
मैंने धीरे से अपना लंड उसकी मस्त मुलायम गांड में लंड पेल दिया. अभी सिर्फ आगे का भाग ही घुसा था कि वो दर्द से काँप उठी.
वो जोर से चिल्लाने ही वाली थी कि तभी मैंने उसका मुँह दबा लिया और रुक गया.
दो पल बाद मैंने लंड को थोड़ा बाहर खींचा और उसकी गांड में जोर से धक्का दे मारा. वो जोर जोर से चिल्लाने की कोशिश करने लगी. उसके आंख से आंसू भी निकलने लगे.
मगर मैं नहीं रुका. फिर मैंने उसकी चुत के दाने को सहलाना शुरू कर दिया. उसकी गर्दन और कानों पर किस भी करने लगा.
वो शांत हुई … तो मैंने फिर से लंड को बहर खींचा और इस बार पूरी ताकत लगा कर पूरा लंड किंजल की गांड में डाल दिया.
उसका फिर से वही हाल हुआ और वो फिर से तड़फ उठी. मैंने उसको शांत किया और थोड़ी देर के बाद गांड मारनी शुरू की.
अब मैं उसकी गांड में पिस्टन की तरह लंड हिला रहा था, वो भी प्यार से लंड सह रही थी.
उसकी गांड इतनी टाइट थी कि वो जैसे मेरे लंड को अन्दर वैक्यूम की तरह खींच रही थी.
थोड़ी देर बाद मैं उसकी गांड में ही झड़ गया और उसके ऊपर आराम से सो गया. वो भी सो गई थी.
फिर रात को मैंने उसको फिर से सहलाया. इस बार मैंने उसकी चुत और गांड दोनों चोद दी थीं.
सुबह उठ कर साथ में नहाते वक्त मैंने फिर से उसकी पूरे जोश में चुदाई की. फव्वारे के नीचे नहाते समय चुत चुदाई का मजा ही कुछ और है.
अब तो मैं उसकी चुत और गांड दोनों की एक ही साथ चुदाई कर लेता हूँ. फिर उसको डॉगी स्टायल में बहुत देर तक चोदा. जब भी झड़ने के करीब होता तो रुक जाता और चुदाई को लंबी खींचता जाता.
वो अब मुझसे पूरी तरह से संतुष्ट थी और खुश भी थी. मुझे सबसे ज्यादा मजा उसकी गांड मारने में आया क्योंकि उसकी गांड बहुत टाईट थी.
दूसरे दिन शाम के 5 बजे तक उसको मेरे घर के हर कोने में ले जाकर मैंने उसकी चुदाई की थी, उसकी चुत और गांड दोनों को पूरा खोल दिया था. एक रंडी के जैसी उसकी चुत दिख रही थी.
वो पूरी थकी हुई अपने घर जा रही थी लेकिन वो कुछ नहीं बोली.
फिर किंजल के साथ चुदाई का ये सिलसिला चलता गया. जब भी उसको या मुझे चुदाई करने का मौका मिलता, हम दोनों चुदाई कर लेते. अगर किंजल के घर पर कोई नहीं होता तो उधर जाकर उसको चोद देता.
कभी कॉलेज जाने का बहाना बनाकर हम दोनों अकेले चले जाते और कार में वो मेरा लंड हाथ में लेकर बैठती. वो कभी लंड को हिलाती तो कभी चूसती. उसको गाड़ी में भी चोद देता.
बहुत बार तो ऐसा हुआ कि मैं किसी काम की कह कर घर से निकल जाता और दो तीन दिनों के लिए उसे अपने साथ घुमाने ले जाता. वो भी अपने घर पर किसी जगह जाने का बहाना बना देती.
ये सब प्लान करके जाते ताकि किसी को पता न चले. आज भी किंजल मुझसे हफ्ते में दो बार बिना चुदे नहीं रह पाती. मैंने उसकी उतनी चुदास बढ़ा दी है.
जब वो मायके जाती है तो वहां रहने के लिए तो ये सिलसिला बंद हो जाता है. मगर जब वापिस आती है तो रास्ते में ही किसी जगह पर मुझे बुला लेती है. फिर होटल में मुझे ले जाकर वो मुझसे ऐसी चुदाई करवाती है कि कई दिन से पानी से तरसे हुए को पानी मिल जाए.
आज भी मेरी और किंजल की चुदाई चालू है. हालांकि अब कम हो गई है क्योंकि उसका पति अब वापस यहीं सैट हो गया है. फिर भी चुदाई में किंजल मुझसे ही खुश होती है.
इस बीच एक बात हुई. मेरी और किंजल की चुदाई की सारी जानकारी सादिका को हो गई थी. वो किंजल पर ध्यान रखने लगी.
फिर उसको पता चल ही गया कि उसका यार और कोई नहीं, मैं ही हूँ.
एक दिन सादिका ने ये बात उसको समझाने के लिए बोला तो किंजल बोली- मेरी सहेली खुश है … और मैं भी खुश हूं. मैं कौन सा उसका पति छीनने वाली हूँ. बस मुझे जो जरूरत है, वो मैं उससे पूरी करती हूं.
ये बात सादिका के मन में बात बैठ गई. अब वो भी मुझसे ज्यादा बातें करने लगी मैसेज और फोन पर वो मुझसे बात करने लगी.
उसको जलन होती थी क्योंकि उनके ग्रुप में वो एकदम लकड़ी की तरह पतली थी, देखने में भी साधारण ही थी. इसलिए कोई भी लड़का उससे कोई बात नहीं करता था या उसे भाव नहीं देता था.
किंजल की बात सुनकर उसको भी चुदाई की आग लग गई थी. वैसे भी काफी उम्र हो जाने के कारण सादिका की चुत में भी आग लगी थी. वो एक तरह से मुझसे किंजल की बता खोलने की बात कह कर किसी न किसी बहाने से मुझसे चुदाई करवाना चाहती थी.
वो सब मैं आगे की सेक्स कहानी में लिखूंगा की मैंने सादिका की चुदाई कैसे की.
दोस्तो ये बीवी की सहेली की चुदाई आपको कैसी लगी … मुझे मेल करके जरूर बताएं.
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बीवी की सहेली की चुदाई जारी है.
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