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हैलो पाठको.. मैं सागर सिंह.. 19 साल का हूँ और दिखने में ठीक-ठाक हूँ। अच्छा ख़ासा गठीला जिस्म है। मेरा लण्ड 7 इंच लम्बा और 3 इंच मोटा है।
यह मेरी पहली कहानी है.. जो मैं यहाँ पोस्ट कर रहा हूँ। ये स्टोरी मेरी और मेरी मौसी की लड़की के बारे में है। उसका नाम सोनिया है और सब उसे प्यार से सोनी कहते हैं।
मैं आपको अपनी बहन के बारे में बता दूँ कि वो अभी 18-19 साल की है.. उसका फिगर किसी 20-22 साल की लड़की की तरह है। बड़े-बड़े चूचे.. मोटी उठी हुई गाण्ड.. जिसका मैं तो मस्त दीवाना हूँ, उस पर मोहल्ले के सारे लड़के मरते थे। मैंने पहले कभी उसके बारे में ऐसा नहीं सोचा था.. मगर 4 महीने पहले जब मेरी कॉलेज की छुट्टियाँ चल रही थीं.. उस समय मैं अपने मामा घर गया था। मेरे मामा आर्मी में हैं और साल में 1-2 बार ही घर आते हैं। इसलिए सोनी मेरी मामी के साथ उनके घर पर रहती है।
जब मैं मामा के घर पहुँचा.. तो उस वक्त दोपहर के 2 बजे थे। घर पर सिर्फ मामी जी थीं.. उनका 8 साल का लड़का स्कूल गया हुआ था और सोनी भी स्कूल गई थी।
मामी ने घर वालों के बारे में पूछा और मुझे फ्रेश होने को कहा। मैं फ्रेश हो गया और उसके बाद मैंने खाना खाया। थोड़ी देर बाद सोनी और मेरे मामा का लड़का निशांत भी आ गए।
वो मुझे देख कर काफी खुश हुए.. उस वक्त सोनी स्कूल ड्रेस में ही थी और एकदम भरी-पूरी जवान लड़की लग रही थी। हम लोग ने थोड़ी देर बात की और फिर रात हो गई, सबने साथ में खाना खाया। उस समय कोई साढ़े आठ बज रहे होंगे।
फिर सब सोने चले गए.. हम सभी लोग एक ही कमरे में सोने वाले थे। मामी.. निशांत और सोनी एक बिस्तर पर और मैं अलग एक सिंगल बेड पर सोने वाला था।
मामी ने मुझसे कुछ देर सोनी को पढ़ाने को कहा.. तो सोनी मेरे बिस्तर पर आ गई। हम लोगों ने करीब दस बजे तक पढ़ाई की।
उसके बाद सोनी बोली- मुझे नीद नहीं आ रही है.. पर पहले अपने मोबाइल में मुझे कोई मूवी दिखाओ। मैंने उसे अपने फ़ोन में मूवी लगा कर दे दी और मैं सो गया। सोनी वहीं मेरे पास लेट कर मूवी देखने लगी.. रात में अचानक मेरी नीद खुली.. तो देखा कि सोनी अभी भी मूवी देख रही थी।
उस वक्त मेरा हाथ उसकी गाण्ड पर चला गया था। मुझे अपने अन्दर एक अजीब सी.. लेकिन अच्छी उत्तेजना का अहसास हुआ।
मैं जानबूझ कर सोने का नाटक करता रहा। थोड़ी देर बाद.. वो भी उठ कर सोने चली गई। अगले दिन सब कुछ नार्मल था। रात को फिर मामी ने उसे मेरे पास पढ़ने के लिए भेज दिया। हमने थोड़ी देर पढ़ाई की। उसके बाद.. सोनी बोली- आज भी मूवी देखनी है..
तो मैंने उसे मूवी चालू करके दे दी। वो मूवी 4 पार्ट्स में थी.. मैंने दिन में उस मूवी के सेकंड पार्ट की जगह एक ब्लू फिल्म डाल दी थी और उसको उसका नाम दे दिया था।
सोनी मूवी देख रही थी और मैं सोने का नाटक कर रहा था.. जब वो पार्ट ख़त्म हुआ.. तो ब्लू-फिल्म शुरू हो गई.. पहले तो सोनी चौंक गई। मगर बाद में वो बड़े ध्यान से देखने लगी। कुछ देर बाद.. मुझे ऐसा लगा कि वो हिल रही थी। मैंने ध्यान दिया.. तो पता चला कि वो अपनी चूत में उंगली कर रही थी। थोड़ी देर में उसका पानी निकल गया और वो वहाँ से उठ कर सोने चली गई।
अगले दिन सन्डे था। जब मैं उठ कर बाथरूम जाने लगा.. तो मैंने देखा कि बाथरूम में कोई नहा रहा था। मैंने जब दरार से झांक कर देखा.. तो सोनी वहाँ नंगी नहा रही थी। मेरा लण्ड उसे नंगी देख कर एकदम से तन गया। थोड़ी देर बाद सोनी अपनी चूत को सहलाने लगी। उसे ऐसे देख कर मेरा बुरा हाल होने लगा था।
थोड़ी देर बाद.. जब वो तौलिये में बाथरूम से निकल कर बाहर आई.. तो मैं उसकी चिकनी टांगों को बस देखता ही रह गया। मुझे अपनी टांगों को घूरता हुए देख कर वो हल्के से मुस्कुरा दी और इठलाते हुए वहाँ से चली गई।
मेरे लण्ड महाराज का ये देख कर बहुत बुरा हाल होने लगा था। मैं झट से बाथरूम में घुसा और उसके नाम की मुठ मारी। मुझे ऐसा लगा.. जैसे कि कोई देख रहा है। जब मैंने पीछे मुड़ कर देखा.. तो वहाँ सोनी तौलिया में लिपटी हुई खड़ी थी। अब मुझसे कण्ट्रोल नहीं हुआ और मैं सीधे सोनी पर भूखे भेड़िये की तरह टूट पड़ा, मैंने उसके गालों और मुँह पर चूमना शुरू कर दिया।
शुरू में वो थोड़ा विरोध करती रही.. लेकिन मैंने उसको चूमना नहीं छोड़ा.. तक़रीबन दस मिनट तक चूमने के बाद.. मुझे होश आया कि मैं ये क्या कर रहा था?
तब तक सोनी गर्म हो चुकी थी.. मुझे ग्रीन सिंग्नल मिल गया था.. मगर उस वक्त ज्यादा कुछ नहीं हो सकता था.. क्योंकि घर में मामी भी थीं।
अब मैं उसे हमेशा छेड़ता रहता था.. मुझे जब भी मौका मिलता.. तो मैं उसे किस कर लेता और उसके बड़े-बड़े चूचों को भी दबा देता था। उसे भी अच्छा लगने लगा था और वो मजे लेने लगी थी। अब मुझे उसे चोदना था.. मगर सही समय का इंतज़ार था।
ऊपर वाले ने मेरी सुन भी जल्दी ली.. वहीं पड़ोस में एक शादी थी और मामी रात को वहाँ पर गई थीं और बोल कर गई थीं कि वो सुबह तक ही वापस आ पाएंगी। अब घर पर केवल हम तीनों ही थे.. निशांत.. सोनी और मैं..
निशांत तो छोटा बच्चा था और वो जल्दी ही सो गया था। हमें और क्या चाहिए था.. मैं और सोनी एक ही बिस्तर पर लेट गए और मैंने अपने मोबाइल पर एक अच्छी सी पोर्न मूवी लगा दी।
कुछ देर देखने के बाद सोनी गर्म होने लगी और उसकी साँसें तेज होने लगी थीं। उसके चूचे भी बड़े कड़क हो चुके थे। मेरा लण्ड भी ये सब देख कर गर्म हो चुका था और कड़क होने लगा था।
मैंने देर ना करते हुए.. उसे चूमना शुरू कर दिया। इस बार सोनी मेरा पूरा साथ दे रही थी। मैंने उसे 15 मिनट तक चूमा और फिर मैंने उसके कपड़े उतारने शुरू कर दिए।
उसने अन्दर लाल रंग की ब्रा और पैन्टी पहनी थी। मुझसे अब कण्ट्रोल नहीं हो रहा था.. मैं उस पर एकदम से टूट पड़ा और उसकी ब्रा को खोल दिया। जैसे ही उसके चूचे उसकी ब्रा से बाहर आए.. तो मैं हैरान हो गया… इतने बड़े मम्मों को मैंने आज तक नहीं देखे थे। यह कहानी आप अन्तर्वासना डॉट कॉम पर पढ़ रहे हैं !
मैं कभी उसके बायें मम्मे को चूसता और दायें मम्मे को दबाता और कभी दायें को चूसता और बायें मम्मे को दबाता। उसे भी बहुत मज़ा आ रहा था.. उसके मुँह से ‘आहन.. अहन.. अहहह.. अहह.. ऊऊओओंन.. ऊओहोहोहोह..’ करके आवाजें निकलने लगी थी।
अब बारी उसकी पैन्टी के उतारने की थी। पहले तो मैंने उसकी पैन्टी के ऊपर से ही उसकी चूत को चूमा और उसके बाद एक ही झटके में उसकी पैन्टी को उतार दिया।
हाय क्या मस्त चूत थी उसकी.. एकदम गुलाबी और उस पर हल्के-हल्के रेशमी रोंए.. मैंने उसकी मखमली चूत को चाटना शुरू किया.. वो मजे में झूम रही थी। उसके मुँह से मादक आवाजें और सिसकारियाँ निकल रही थीं। ये सिसकारियाँ मुझे और भी ज्यादा पागल बना रही थीं और मुझ में जोश भर रही थीं।
इन सबके बीच सोनी आज पहली बार कुछ बोल रही थी। सोनी- भाई और जोर से अहहाह अहह.. अह.. ऊऊओ.. मैं मर गई.. और जोर से करो ना.. अह अह.. अहहाह.. ओअओ अओअ अओअओ अओअ होहोहोह ओह्ह्होहहो… इसी के साथ उसके अंग में तेज थिरकन होने लगी और वो एकदम से झड़ गई, मैं उसका पूरा का पूरा पानी पी गया।
अब मैंने अपने कपड़े भी उतार दिए और मेरा 7 इंच का लण्ड देख कर वो हैरान रह गई। मैंने उसे लण्ड चूसने को बोला.. तो उसने मना कर दिया।
मैंने भी जबरदस्ती करना ठीक नहीं समझा और रसोई से तेल की बोतल ले आया। कुछ तेल उसकी चूत पर लगाया और ढेर सारा तेल अपने लौड़े पर लगा कर एकदम मस्त चिकना कर दिया।
फिर मैं अपने लण्ड को उसकी चूत पर रगड़ने लगा और अचानक मैंने एक जोर से झटका दिया। मेरा आधा लण्ड एकदम से उसकी चूत में चला गया और वो चीख पड़ी।
मैंने एकदम से अपने होंठों को उसके होंठों पर रख दिया और उसकी चीख को बीच में ही दबा दिया। उसकी चूत की सील फट गई थी और बिस्तर पर खून के निशान बन गए। उसे काफी दर्द हो रहा था.. मैं थोड़ा रुक गया। जब उसका दर्द कुछ कम हुआ.. तो मैंने धीरे-धीरे अपना पूरा लण्ड उसकी चूत में डाल दिया।
अब वो भी मजे लेकर चुदवा रही थी। हम दोनों ने बहुत लम्बी चुदाई की और मैं उसकी चूत में ही झड़ गया।
उस रात हमने 2 बार चुदाई की.. सुबह उससे ठीक से चला भी नहीं जा रहा था। मामी के पूछने पर उसने मामी से बोला- बाथरूम में गिर गई थी.. इसलिए थोड़ी चोट आई है। उसके बाद तो जब भी हम मिलते.. खूब चुदाई करते।
मैंने उसकी गाण्ड भी मारी.. लेकिन उसकी कहानी फिर कभी.. तब तक लिए गुडबाय.. आपको मेरी कहानी कैसी लगी.. लिखिएगा। [email protected]
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