This website is for sale. If you're interested, contact us. Email ID: [email protected]. Starting price: $2,000
अन्तर्वासना के पाठकों को मेरा नमस्कार! मेरा नाम आशीष है, मैं गाज़ियाबाद का रहने वाला हूँ और फ़िलहाल दिल्ली में जॉब कर रहा हूँ। मैं आपको अपनी साथ बीती सच्ची घटना के बारे में बताने जा रहा हूँ। बात करीब एक साल पहले की है।
दिल्ली में मेरा एक बहुत ही अच्छा दोस्त है प्रदीप, मैं उसके घर पर जाता रहता हूँ। उसके घर पर अंकल आंटी उसका एक छोटा भाई और इस कहानी नायिका पूजा उसकी बीस साल की बहन जो घर पर रहकर किसी एग्जाम की तैयारी कर रही थी।
सच बताऊँ तो पहले मैंने उसके बारे में गलत नहीं सोचा था लेकिन दो एक बार मैंने उसे ऐसे देखा कि मेरा मन बदलने लगा, उसकी पतली कमर, चिकनी मस्त गांड, भरी हुई बड़ी बड़ी चूचियाँ देख कर मेरे मन में उसके साथ बिस्तर पर रात बिताने के ख्याल आने लगे, पर मैं कुछ कर नहीं सकता था।
हाँ, हम कभी कभी मिलते और बातें भी करते थे, पूजा खुल कर बात करती थी लेकिन पर ऐसी कोई बात नहीं कर पाता था मैं! मेरी गांड फटती थी.
प्रदीप कन्स्ट्रुक्शन कॉन्ट्रेक्टर का काम करता है, बहुत लेट आता था कुछ महीनों से मुझे कभी घर पर नहीं मिलता था, मैं इसी बात इंतज़ार करता था, मेरी पूजा से बात हो जाती थी। मैं उसे चोर नज़रों से देखता… जब वह नीचे झुकती तो मैं उसके सुडौल बूब्स को देखता! थोड़े दिन ऐसे ही चलता रहा। पूजा भी समझती थी कि मैं उसे किस नजर से देखता हूँ, वो भी जानबूझ कर मेरे साथ शरारतें करती थी. कई बार तो मुझे लगता था कि पूजा कोई चालू किस्म की लड़की है.
एक बार मैंने अपने जन्मदिन की पार्टी रखी और प्रदीप को बुलाया और पूजा को साथ लेकर आना को भी मना लिया। बुलाया तो मैंने उसके छोटे भाई को भी था लेकिन वो पढ़ाई करने के कारण नहीं आया था.
वो दोनों शाम सात बजे तक आ गए थे. उस दिन पूजा क्या कयामत लग रही थी स्लीवलेस टॉप में… और पीछे पीठ का भाग पूरा खुला ही था, सिर्फ एक डोरी बंधी हुई थी, उसे देख कर मैं पागल होने लगा था, मैंने सोच लिया था कि कुछ भी करके इसे चुदाई के लिए पटाना पड़ेगा।
मैंने केक काटा और प्रदीप को खिलाया, फिर पूजा को भी अपने हाथ से खिलाया. फिर मैंने प्रदीप और पूजा को थोड़ा खिलाया पिलाया. मैंने दारू का इंतजाम भी कर रखा था तो थोड़ी देर बाद प्रदीप दारू पीने में लग गया क्योंकि वो बहुत बड़ा पियक्कड़ है. मैंने देखा पूजा अकेली है और यहाँ सही मौका है चौका मारने का।
मैंने एक कोल्ड्रिंक ली और पूजा को ऑफर करने उसके पास बैठ गया और बात करने लगे. मैं- पूजा तुम आज बहुत खूबसूरत लग रही हो! पूजा- और? “हॉट भी लग रही हो!”
मेरा इतना कहना था और वह हँसने लगी। और आप लोगों को पता ही है कि लड़की हँसी तो फंसी! यहीं हुआ भी।
पूजा- थैंक्स, वैसे तुम भी काफी अच्छे दिख रहे हो! मैंने कहा- पर क्या फायदा? कोई लड़की पटती ही नहीं! बस अकेले रहना पड़ता है। पूजा ने कहा- किसे पटाने की कोशिश कर रहे हो? मैंने हिम्मत करके बोल दिया- सच बताऊँ तो तुम्हें ही पटाने की कोशिश कर रहा हूँ। वो शर्म से नीचे देख कर बोली- मुझे क्यों?
मैंने कहा- तुम इतनी प्यारी हो और मेरा दिल तुम पर आ गया है. मैंने बोला और उसके हाथ पर अपना हाथ रखा और हाथ दबा दिया।
वो मुझे देख कर मुस्कुराई, उसकी तरफ से कोई प्रतिक्रिया न होने के बाद मैंने और हिम्मत की और उसे किस कर दिया।
पूजा मेरे इस हमले के लिए तैयार नहीं थी और चौंक गयी, वह उठ कर जाने लगी तो मैंने रोका! पूजा ने कहा- क्या कर रहे हो, यहां भैया हैं।
मैंने उसे घर के बाहर वाले कमरे में जाने का इशारा किया और उसे एक रूम में ले गया।
कमरे में आने के बाद दरवाजा बंद करके जैसे ही मैं अंदर आया तो पूजा मुझसे लिपट गई और कहने लगी- मैं कब से इस पल का इंतज़ार कर रही थी, मुझे भी तुम्हारा प्यार चाहिए!
मैंने कहा- मेरी जान पूजा, मैं तुम्हें बहुत प्यार दूंगा। मैं बोला- पहले फ्रेश हो जाओ, प्रदीप का कार्यक्रम लंबा चलेगा, हमारे पास बहुत टाइम है। मैंने उसे अपना बाथ रोब दे दिया.
वह फ्रेश होकर बाथ रोब बांध कर वापिस आयी.
मैंने उसको देखते ही गले लगाया और चूमने लगा, उसके होंठों पर अपने होंठ रख के उनको चूसने लगा और अपना एक हाथ उसके बाथ रोब को हटा कर मस्त चिकनी गांड पर फ़िराने लगा।
पूजा भी अपना एक हाथ मेरी पैंट के ऊपर से ही मेरे लंड पर घुमाने लगी। उसने जैसे ही मेरे लंड को छुआ, मुझे कुछ अजीब सा लगने लगा और मेरा लंड बहुत कड़क हो गया।
मैं यह नहीं कहूँगा कि मेरा दस इन्च का है। मेरा लौड़ा सामान्य आकार का ही है छह इंच का… पर ऐसा है कि कोई भी औरत उससे अपनी प्यास बुझा सकती है।
फिर उसने मेरे पैंट की चेन खोल दी, मेरा लंड धीरे धीरे हिलाने लगी और मेरे होंठों पर होंठ रख कर चूसे जा रही थी।
फिर उसने मुझसे कहा- बस अब तुम मुझे चोद डालो!
मैंने उससे कहा- बस ऐसे ही सिर्फ चूत में सिर्फ लंड डाल कर हिलने में इतना मज़ा नहीं… मैं आज तुम्हें पूरी चुदाई का मज़ा दूंगा। तो वो खुश हो गई।
मैं उसकी बड़ी बड़ी चूचियों को धीरे धीरे दबाने लगा, वो मदहोश होने लगी थी।
मैं अपने दोस्त की बहन की एक चूची मुँह में लेकर चूसने लगा और अपना एक हाथ धीरे धीरे उसकी चूत पर ले गया, उसकी चूत बहुत गीली हो चुकी थी! मैं अपनी एक उंगली उसकी चूत के ऊपर फ़िराने लगा।
फिर धीरे से मैंने अपनी उंगली उसकी चूत में डाली, उसकी चूत बहुत कसी हुई थी। मैंने उससे कहा- साली तेरी चूत तो बहुत कसी हुई है? उसने कहा- तेरे जैसा कोई मिला नहीं जो इसे फाड़ डाले!
मैंने कहा- अब तो तू मेरी रखैल बन गई है, और अब तुझे रंडी की तरह चोदूँगा रोज़!
फिर उसने मेरे कपड़े उतार दिए और मुझे चूमने लगी और मेरा लंड हिला हिला कर किस करने लगी, मैं उसे गर्म कर रहा था गंदे शब्द बोल कर!
मैंने उसे लंड मुँह में लेकर चूसने को कहा, थोड़ी न नुकुर के बाद वो मान गयी। मैं भी अपनी उंगली उसकी चूत में डालता और निकाल कर फिर अपने मुँह में डाल लेता, उसकी चूत की खुशबू मुझे बहुत पसंद आ रही थी।
अब मैंने उसको अपने ऊपर ले लिया और हम 69 की दशा में हो गए, उसने अपनी चूत मेरे मुँह पर रख दी, उसकी भीगी हुई चूत की खुशबू मुझे बहुत भा रही थी। फिर मैंने अपनी जुबान उसकी चूत में डाल दी और चाटने लगा।
माहौल ऐसा हो गया था कि हम सब भूल कर एक-दूसरे में खो गए थे, वो मेरा लंड चूस रही थी और मैं उसकी चूत चाट रहा था!
बहुत देर उसकी चूत चाटने के बाद वो झड़ गई और मैंने उसका सारा पानी चाट लिया। मैं अभी तक झड़ा नहीं था, मैंने उसको सीधा लिटा दिया और उसका मुँह चोदने लगा। थोड़ी देर दोस्त की बहन पूजा का मुख चोदने के बाद मैं भी उसके मुंह के अंदर ही झड़ गया, उसने मेरा सारा माल पी लिया और चाट कर मेरा लंड साफ कर दिया. फिर उसने मुझसे कहा- तुम्हारा माल बहुत मस्त लगा मुझे! मुझे नहीं पता था लंड चुसाई में इतने मजे आते हैं।
अब मैं प्रदीप को देखने गया उसका तो गेम बज गया था और वो लुढ़क गया था, मतलब सो रहा था।
मैंने उसे हिलाया और कहा- प्रदीप खाना खा ले, लेकिन वो दारू के नशे में टुन्न था. मैंने उसे ठीक से सोफे पर लिटा दिया.
मैं वापिस पूजा के पास आया और उसे बताया कि प्रदीप तो टुन्न हो कर सो रहा है.
पूजा कहने लगी कि घर वाले इन्तजार करेंगे. तो मैंने उसके घर फोन करके कह दिया कि प्रदीप और पूजा आज रात यहीं रुक रहे हैं, सुबह को आयेंगे. मैंने पूजा को खाना खाने को कहा तो उसने मना कर दिया. असल में अब वो भी पूरी चुदाई का मजा लेना चाह रही थी.
अब पूजा और मैं चूत चुदाई का असली खेल खलेने को तैयार थे. मैंने उसकी चूत पर उंगली घुमाई तो फिर से उसकी चूत गीली हो गई थी। अब मैंने उसे बिस्तर पर चित लिटाया और उसे उसकी जांघें फैलाने को कहा. वो अपनी टाँगें थोड़ी मोड़ कर फैला कर लेट गयी, मैं उसकी गोरी चिकनी टांगों के बीच में आया और अपना लंड उसकी चूत पर रख कर रगड़ने लगा. पूजा के मुख से कामुकता भरी सिसकारियां निकलने लगी. मुझे भी बहुत मजा आ रहा था.
कुछ देर बाद मैंने पूजा की चूत के छेद पर अपना लंड टिकाया और एक धक्का मारा और उसकी चूत में अपना लंड डाल दिया और हिलने लगा। मुझे तब भी विश्वास नहीं हो रहा था कि वो मुझसे चुदवा रही है। लेकिन मुझे हैरानी भी हो रही थी कि पूजा इतनी जल्दी चुत चुदाई के लिए कैसे मान गई और उसकी चूत में मेरा लंड बिना किसी रुकावट के कैसे एकदम से घुस गया.
फिर मैं ये सब भूल कर जोर जोर से धक्के लगाने लगा पूजा की चूत में, वो मुझे कस कर पकड़े हुए थी और उसके नाख़ून मेरी पीठ पर गड़ रहे थे पर मैं रुका नहीं!
वो चिल्ला रही थी- उफ्फ्फ्फ… आआआआ उम्म्ह… अहह… हय… याह… और बोल भी रही थी- आशु (मेरे प्यार का नाम जो पूजा ने रखा) मैं तेरे लंड की दीवानी हो गई हूँ अब हर रात तेरा लंड लेना चाहती हूँ… मैं चोदे जा रहा था!
वो झड़ गई, फिर भी मैं रुका नहीं और कुछ मिनट के बाद मैं भी झड़ गया। थोड़ी देर मैं उसके नंगे बदन के ऊपर ही लेटा रहा, फिर हम दोनों ने बाथरूम में जाकर लंड और चूत को साफ किया.
रात के तक़रीबन दस बजे होंगे, मैं पूजा के पास ही सो गया, पूजा पूरी नंगी ही सोई हुई थी। उसकी गांड मेरी तरफ थी, मैं उसे सहला रहा था कि मुझे नींद आ गई।
काफ़ी देर के बाद मेरी नींद खुली, पूजा की नंगी गाण्ड देख मैं उसे सहलाने लगा।
पूजा भी जाग गई, बोली- क्या इरादा है जनाब?
मैंने कहा- तेरी गांड मारनी है! बहुत मोटी और चिकनी है, इसे चोदे बिना तो तेरी चुदाई पूरी नहीं होगी!
वो बोली- मुझे रंडी समझ कर चोद रहा है? मैंने कहा- साली, तू है ही ऐसी कि जी ही नहीं भरता!
फिर मैंने उसको कहा- चल साली कुतिया बन जा!
वो कुतिया की तरह अपनी गांड मेरे सामने करके लेट गई, मैंने क्रीम उंगली पर लेकर उसकी गांड के छेद पर लगा दी और अपने लंड पर भी!
फिर मैंने अपना लंड उसकी गांड में डाल दिया और उसकी गाण्ड चोदने लगा।
वो पहले तो बहुत चिल्लाई, बाद में वो भी अपनी गांड उछाल-उछाल कर साथ देने लगी और कहने लगी- आशु, तुमने मुझे आज अपनी रखैल बना लिया, अब जब तुम्हारा मन करे, तब मुझे चोदना और मेरा मन जब करेगा, मैं तुम्हारे लंड से ही अपनी प्यास बुझाऊँगी!
और 15-20 मिनट चोदने के बाद मैं झड़ गया। मैंने उससे कहा- साली, तू बहुत बड़ी चुदक्कड़ है!
फिर बाथरूम में जाकर अपना लंड साफ किया और कपड़े पहने।
अब मैंने पूजा को वहीं पर सोने को कहा और मैं उसके भाई प्रदीप के कमरे में आकर सो गया.
सुबह जब प्रदीप उठा तो मैंने उसे बहुत डांटा कि इतनी दारू क्यों पी ली थी. उसे भी लग रहा था कि उससे गलती हो गयी है. उसे पूजा के बारे में पूछा तो मैंने बताया कि वो साथ वाले कमरे में सो रही है. प्रदीप ने जाकर अपनी बहन को जगाया और दोनों भाई बहन अपने घर चले गए.
उस दिन के बाद पूजा के साथ बहुत बार सेक्स किया.
दोस्तो, आपको कहानी कैसी लगी, मुझे बताइएगा, मेरा ईमेल है [email protected]
This website is for sale. If you're interested, contact us. Email ID: [email protected]. Starting price: $2,000